USA में प्रवेश के लिए Tourist Visas पर 13 लाख रुपये का बॉन्ड? जानिए पूरा मामला!


Bhawna Mishra

Bhawna Mishra

Aug 08, 2025


अमेरिकी विदेश विभाग (U.S. State Department) ने हाल ही में एक नया पायलट प्रोग्राम लॉन्च किया है। इसके तहत कुछ बिजनेस और टूरिस्ट वीज़ा लेने वालों को $15,000 तक का बॉन्ड जमा करना होगा। यह प्रस्ताव 5 अगस्त, 2025 को ऑफिशियली पब्लिश किया गया। इस योजना के पीछे अमरीकी सरकार का उद्देश्य इमिग्रेशन नियमों को और सख्त बनाना है। यह फैसला ट्रम्प सरकार की स्ट्रिक्ट वीजा पॉलिसी का ही एक हिस्सा है।

किन यात्रियों को देना होगा Visa Bond? 

नई वीज़ा बॉन्ड योजना लॉन्च करने के पीछे कई कारण बताएं जा रहे है। दरअसल यह पायलट प्रोग्राम उन अंतरराष्ट्रीय यात्री के लिए है, जहां लोग अक्सर वीज़ा की तय अवधि से ज्यादा निवास करते हैं। कुछ देशों में तो इन्वेस्टमेंट के ज़रिए सिटीजनशिप पाने की आसान स्कीम भी चल रही हैं। 

अगर कोई तय समय से ज्यादा रहता है या नियम तोड़ता है, तो $5,000 से $15,000 का बॉन्ड देना होगा। हालांकि यह एप्लीकेंट प्रोफ़ाइल और रिस्क केटेगरी पर निर्भर करेगी।

कौनसे देश होंगे सबसे ज्यादा प्रभावित? 

नए नियम लागू होने के 15 दिन के अंदर प्रभावित देशों की एक लिस्ट जारी की जाएगी। लेकिन वीज़ा वेवर प्रोग्राम (VWP) के अंतर्गत आने वाले देशों के नागरिकों को इस बॉन्ड से छूट मिलेगी। इन देशों में ज्यादातर यूरोपीय देश और एशिया व मिडिल ईस्ट के कुछ चुनिंदा देश शामिल हैं। इसके अलावा, कुछ एप्लीकेंट को स्पेशल स्टैण्डर्ड के आधार पर भी छूट दी जा सकती है। देखा जाए तो सरकार हर केस को अलग तरह से हैंडल करेगी।

Visa Bond पॉलिसी पर उठे सवाल

जहां एक ओर अमेरिका वीजा पॉलिसी को सख्त बनाने के लिए प्रयास कर रहा है , वहीं आलोचक इस बॉन्ड सिस्टम पर सवाल उठा रहे हैं। उनका कहना है कि यह सिस्टम विकासशील देशों के यात्रियों को खासा प्रभावित कर सकती है। इतना ही नहीं, उनका यह भी मानना हैं कि इससे अमेरिका की बिजनेस और टूरिस्ट ट्रिप्स और भी महंगी हो जाएंगी। इसके अलावा, बॉन्ड जमा करने और वापस लेने की प्रक्रिया भी काफी मुश्किल है। इससे यात्रियों में निराशा भी बढ़ सकती है।

बता दें की यह पहली बार नहीं जब वीजा बॉन्ड के बारे में विचार किया गया हैं।  इससे पहले भी इस प्रस्ताव पर चर्चा हुई थी। हालांकि कुछ प्रशासनिक परेशानियों के चलते, उन्हें कभी लागू नहीं किया गया। लेकिन अब, प्रशासन का मानना है कि इसे लागू करने का सही समय है। यही कारण है कि वे इस कदम को आगे बढ़ाने के पक्ष में हैं।

वीज़ा नियमों में हुए बदलावों पर एक नज़र

बताते चलें की पिछले कुछ समय में वीज़ा नियमों में कई बदलाव देखने को मिले हैं। हाल ही में एक नया प्रस्ताव भी सामने आया है। इससे पहले, वीज़ा रिन्यूअल के लिए पर्सनल इंटरव्यू देना होता है। इतना ही नही, डायवर्सिटी वीज़ा लॉटरी में हिस्सा लेने वालों को अब अपने देश का वैध पासपोर्ट दिखाना ज़रूरी है।

इस बीच अगर यह योजना लागू होती है, तो यह 12 महीने का एक पायलट प्रोग्राम होगा। यह सिस्टम नेशनल सिक्योरिटी को मजबूत करने के लिए तैयार किया गया है। हालांकि, एक्सपर्ट्स का मानना है कि इससे यात्रियों पर आर्थिक बोझ बढ़ सकता है। खासकर उन लोगों के लिए जो बिजनेस या घूमने के लिए अमेरिका जाना चाहते हैं।

Summary


अमेरिकी विदेश विभाग ने 5 अगस्त 2025 को नया पायलट प्रोग्राम शुरू किया है। इसके तहत कुछ बिजनेस और टूरिस्ट वीज़ा होल्डेर्स को $15,000 तक का बॉन्ड जमा करना होगा। इसका उद्देश्य इमिग्रेशन नियम सख्त करना है। यह योजना उन देशों के यात्रियों पर लागू होगी, जहां वीज़ा नियमों का उल्लंघन होता हैं। आलोचकों का कहना है कि इससे डेवलपिंग देशों के लोगों को आर्थिक परेशानी होगी। यात्राएं भी महंगी हो जाएंगी।




Bhawna Mishra
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She is a seasoned writer with a passion for Storytelling and a keen interest in diverse topics. With 2.5 years of experience, she excels in writing about Tech, Sports, Entertainment, and various Niche topics. Bhawna holds a Postgraduate Degree in Journalism and Mass Communication from St Wilfred’s College of Jaipur.

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