मसूरी में पिछले कुछ दिनों में पर्यटकों की काफी चहल पहल देखने को मिल रही है। दरअसल 2022 से 2024 के बीच पर्यटकों की संख्या लगभग दोगुनी हो गई है। बढ़ती भीड़ ने शहर की सड़कों और ट्रैफिक व्यवस्था पर दबाव बना दिया है। अब हालात को संभालने के लिए प्रशासन एक नई योजना पर काम कर रहा है। यह सब देखते हुए जल्द ही पीक सीजन में मसूरी आने वाले पर्यटकों को पहले से रजिस्ट्रेशन कराना होगा।

मसूरी में जल्द शुरू होगा Pre-Registration System
यह स्थिति देखते हुए, प्रशासन मसूरी में जल्द ही प्री-रजिस्ट्रेशन सिस्टम लागू करने की तैयारी में है। इस सिस्टम के तहत, बिना पंजीकरण के आने वाले पर्यटकों को एंट्री नहीं मिलेगी। मुख्य चेकपोस्ट पर ऐसे पर्यटकों को रोका जा सकता है। अधिकारियों के अनुसार, 2024 में मसूरी पहुंचे पर्यटकों की संख्या करीब 21 लाख रही। यह आंकड़ा 2022 के मुकाबले लगभग दोगुना है, जब करीब 11 लाख टूटिस्ट आए थे।
प्रशासन की योजना का पहला कदम एंट्री पॉइंट्स पर निगरानी बढ़ाना है। किमाड़ी, केम्प्टी फॉल और कुथल गेट, इन तीनो एंट्री पॉइंट्स पर कैमरे लगाए जाएंगे। इन कैमरों से यह अनुमान लगाया जाएगा कि पीक सीजन में कितने पर्यटक और वाहन मसूरी आ रहे हैं।
गर्मी, सर्दी की छुट्टियों और लॉन्ग वीकेंड के समय इन आंकड़ों का प्रयोग ट्रैफिक मैनेजमेंट के लिए किया जाएगा। यह जानकारी पर्यटन सचिव धीरज सिंह गर्ब्याल ने दी।
उन्होंने आगे बताया, भीड़ और ट्रैफिक जाम की समस्या केवल छुट्टियों और पीक सीजन में देखने को मिलती है। इसी वजह से प्री रजिस्ट्रेशन मैनेजमेंट पूरे साल लागू करने की जरूरत नहीं है। टूरिज्म डिपार्टमेंट फिलहाल इस सिस्टम को सिर्फ पीक समय में लागू करने पर काम कर रही हैं।
अब मसूरी एंट्री से पहले जरूरी होगा OTP रजिस्ट्रेशन
इन दिनों में वीकेंड और छुट्टियों के दौरान मसूरी में ट्रैफिक जाम आम बात हो गई है। गांधी चौक से माल रोड तक घंटों जाम लगा रहता है। इसी साल जून में, एक दुखद घटना भी सामने आई। दिल्ली से आए एक पर्यटक की भीड़ में फंसने और समय पर अस्पताल न पहुंच पाने के कारण मौत हो गई। ऐसे में अब प्रशासन एक रजिस्ट्रशन फॉर्म लागू करने की योजना बना रहा है। इसमें फॉर्म में टूरिस्ट की संख्या, कॉन्टैक्ट डिटेल्स और वाहन से जुड़ी जानकारी शामिल की जाएगी।
इस बीच टूरिज्म डिपार्टमेंट के अधिकारियों ने शुक्रवार को स्टेकहोल्डर्स के साथ बैठक की। इस दौरान योजना के अहम बिंदुओं पर बातचीत हुई। पर्यटन सचिव धीरज सिंह गर्ब्याल ने बताया कि इसका मकसद भीड़ की स्थिति को समझना और उसका आकलन करना है। अधिकारियों ने बताया कि रजिस्ट्रशन की सुविधा ऑनलाइन होगी। यह OTP बेस्ड सिस्टम होगा।
भारतीय पर्यटकों को ओटीपी उनके मोबाइल पर भेजा जाएगा। वही विदेशी टूरिस्ट को यह ओटीपी ईमेल के ज़रिए मिलेगा।
QR कोड ज़रूरी, बिना रजिस्ट्रेशन एंट्री नहीं
रजिस्ट्रेशन पूरा होते ही एक क्यूआर कोड जनरेट होगा। इसी कोड के ज़रिए पर्यटकों की पहचान की जाएगी। एंट्री गेट्स पर वाहनों की नंबर प्लेट को स्कैन करने के लिए ANPR (ऑटोमैटिक नंबर प्लेट रीडर) तकनीक का इस्तेमाल होगा। ऐसे में बिना वैलिड क्यूआर कोड वाले पर्यटकों को एंट्री से रोका जा सकता है।
पर्यटन विभाग ने मसूरी के तीन प्रमुख प्रवेश बिंदुओं की पहचान की है। इन जगहों पर ANPR (ऑटोमैटिक नंबर प्लेट रीडर) सिस्टम लगाने की तैयारी चल रही है। प्रवेश की अनुमति देने से पहले, कर्मचारियों द्वारा पर्यटकों का क्यूआर कोड चेक किया जाएगा। बिना वैध कोड के किसी को एंट्री नहीं दी जाएगी।
वह, माल रोड पर चल रहे निर्माण कार्य को भी फिलहाल रोक दिया गया है। अधिकारियों ने कोर्ट के निर्देश पर यह कदम उठाया है। उन्हें आशंका है कि काम जारी रहा तो ट्रैफिक जाम और बढ़ सकता है।
Summary
मसूरी में बढ़ती भीड़ और ट्रैफिक से निपटने के लिए प्रशासन जल्द ही प्री-रजिस्ट्रेशन सिस्टम शुरू करने जा रहा है। बिना क्यूआर कोड वाले पर्यटकों को एंट्री नहीं मिलेगी। OTP आधारित ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन अनिवार्य होगा। किमाड़ी, केम्प्टी फॉल और कुथल गेट पर निगरानी बढ़ेगी। यह व्यवस्था छुट्टियों और पीक सीजन में लागू होगी।
