50% टैरिफ पर भारत का पलटवार, USA के खिलाफ Retaliatory Tariff प्लान तैयार


Bhawna Mishra

Bhawna Mishra

Aug 11, 2025


हाल ही में अमेरिका ने भारतीय स्टील और एल्युमीनियम पर 50% तक टैरिफ लगाया है। जिससे व्यापारिक तनाव बढ़ गया है। इसके जवाब में भारत अब कुछ अमेरिकी प्रोडक्टस पर टैरिफ बढ़ाने पर विचार कर रहा है। सरकारी सूत्रों के अनुसार, यह फैसला तब लिया गया जब अमेरिका ने भारत की औपचारिक बातचीत की मांग को खारिज कर दिया। ऐसे में अब भारत वर्ल्ड ट्रेड ऑर्गेनाइजेशन (WTO) के नियमों के तहत आगे की कार्रवाई पर विचार कर रहा है।

टैरिफ को लेकर लंबे समय से जारी है विवाद

बता दें कि टैरिफ बढ़ाने का यह दौर साल की शुरुआत में ही शुरू हुआ था। दरअसल फरवरी में ट्रंप प्रशासन ने स्टील और एल्यूमीनियम पर 25% टैरिफ लगाया था। जून में इसे बढ़ाकर 50% कर दिया गया। भारत ने बताया है कि ये कदम असल में राष्ट्रीय सुरक्षा के नाम पर छुपाए गए हैं। नई दिल्ली का मानना है कि यह WTO नियमों का उल्लंघन है। इस कदम से कम से कम 7.6 बिलियन डॉलर का  भारतीय निर्यात प्रभावित हुआ है। यही कारण है कि नई दिल्ली ने इसके जवाब में कार्रवाई करने की बात कही है।

कई सालों बाद भारत का पहला बड़ा जवाब

अगर यह टैरिफ लागू होता है, तो यह भारत का अमेरिका के खिलाफ पहला बड़ा प्रतिशोध होगा। 31 जुलाई को ट्रंप प्रशासन ने व्यापार विवाद के बाद सभी भारतीय वस्तुओं पर 25% टैरिफ लगाया था। इसके बाद 6 अगस्त को अमेरिका ने भारत के रूसी तेल खरीद पर बैन लगाकर तनाव और बढ़ा दिया।

व्यापार और बाजार को लेकर बढ़ता तनाव

बताते चलें की US सालाना भारत को 45 बिलियन डॉलर से ज्यादा का मटेरियल एक्सपोर्ट करता है। वहीं, भारत ने टैरिफ से पहले अमेरिका को 86 बिलियन डॉलर वस्तुएं निर्यात की थी। देखा जाए तो दोनों देशों का लक्ष्य बाइलेटरल ट्रेड को 500 बिलियन डॉलर तक बढ़ाना है। लेकिन अमेरिका कुछ खास और संवेदनशील भारतीय क्षेत्रों में अपने प्रोडक्ट्स को पहुंचाना चाहता है। हालांकि भारत ने आर्थिक और सुरक्षा कारणों के चलते यह यह मांग खारिज कर दी थी।

दोनों देशों की मजबूत आर्थिक कड़ी

अगर कारोबार के अलावा देखा जाए तो दोनों देशों के व्यापार संबंध मजबूत बने हुए हैं। अमेरिका ने 2024-25 में भारत को एनर्जी प्रोडक्ट्स का 13.62 बिलियन डॉलर का निर्यात किया। इलेक्ट्रॉनिक्स, केमिकल और अन्य वस्तुओं का भी अच्छा कारोबार रहा। इतना ही नहीं, सर्विस सेक्टर में अमेरिका को भारत से 102 मिलियन डॉलर का लाभ हुआ है। बाइलेटरल ट्रेड 2024 में 83.4 बिलियन डॉलर तक पहुंच गया है। यह आकड़ें दिखाते है कि दोनों देशों की आर्थिक निर्भरता कितनी गहरी है।

बढ़ता तनाव और राजनीतिक रुख

इस मामले पर अधिकारियों का कहना है कि ट्रम्प के हाल ही में जारी बयान के चलते भारत ने जवाबी टैरिफ बढ़ाने का कदम उठाया है। उन्होंने स्पष्ट किया कि विवाद जल्द नहीं सुलझेंगे। अधिकारियों का यह भी कहना हैं कि एकतरफा कदम और हाई टैरिफ से समझौते की राह मुश्किल हो जाती है। फिलहाल WTO में कार्यवाही जारी है। इस बीच भारत की जवाबी कार्रवाई व्यापार संबंधों में बड़ा बदलाव ला सकती है। 

Summary:

अमेरिका द्वारा भारतीय स्टील और एल्युमीनियम पर 50% टैरिफ लगाए जाने के बाद भारत जवाबी कार्रवाई पर विचार कर रहा है। भारत का मानना है कि ये टैरिफ राष्ट्रीय सुरक्षा के नाम पर लगाए गए हैं। साथ ही, WTO नियमों का उल्लंघन हैं। इससे 7.6 बिलियन डॉलर का निर्यात प्रभावित हुआ है। अगर भारत टैरिफ बढ़ाता है, तो यह वर्षों बाद उसका पहला बड़ा कदम होगा। दोनों देशों के बीच व्यापारिक तनाव और राजनीतिक मतभेद तेजी से बढ़ रहे हैं।


Bhawna Mishra
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She is a seasoned writer with a passion for Storytelling and a keen interest in diverse topics. With 2.5 years of experience, she excels in writing about Tech, Sports, Entertainment, and various Niche topics. Bhawna holds a Postgraduate Degree in Journalism and Mass Communication from St Wilfred’s College of Jaipur.

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