तमिलनाडु सरकार ने डिजिटल शिक्षा को बढ़ावा देने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाया है। हाल ही में राज्य सरकार ने फ्री लैपटॉप वितरण योजना को आगे बढ़ाया है। इस स्कीम के तहत पहले फेज में 10 लाख लैपटॉप दिए जाएंगे। फिर अगले दो सालों में 20 लाख छात्रों को इस योजना से जोड़ा जाएगा। यह पहल देश में शिक्षा को डिजिटल बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम है।

Laptop Scheme की शुरुआत कब और कैसे होगी?
कुछ रिपोर्ट्स के अनुसार, लैपटॉप स्कीम इस साल के अंत तक या 2026 की शुरुआत तक शुरू हो सकती है। इस स्कीम की शुरुआत मुख्य रूप से प्रोक्योरमेंट और लॉजिस्टिक्स पर निर्भर करेगी। ‘द हिंदू बिज़नेस लाइन’ के मुताबिक, स्कीम जल्द शुरू हो सकती है। वहीं, डीटी नेक्स्ट की रिपोर्ट में फरवरी से मार्च 2026 के बीच बड़े पैमाने पर लैपटॉप डिस्ट्रीब्यूशन की बात कही गई है।
इस स्कीम के लिए कुल ₹2,000 करोड़ का बजट रखा गया है। इस बीच इलेक्ट्रॉनिक्स कॉर्पोरेशन ऑफ़ तमिलनाडु (ELCOT) पूरी प्रक्रिया की निगरानी करेगा। इसमें लैपटॉप की प्रोक्योरमेंट, वेंडर मैनेजमेंट और क्वालिटी टेस्टिंग शामिल है।
छात्रों के लिए अपग्रेडेड और एडवांस्ड लैपटॉप
इस नई स्कीम के तहत स्टूडेंट्स को मिलने वाले लैपटॉप में कई एडवांस्ड फीचर्स शामिल होंगे। जैसे-
• 8GB रैम
• 15-इंच डिस्प्ले
• 256GB SSD स्टोरेज
• प्री-इंस्टॉलेंड एजुकेशनल सॉफ्टवेयर
• इंटेल कोर i3 प्रोसेसर या AMD Ryzen 3 वेरिएंट
बता दें लगभग ₹21,000 प्रति यूनिट की एस्टिमेटेड कॉस्ट पर ये लैपटॉप छात्रों के लिए डिज़ाइन किए गए हैं। यह लैपटॉप टेक, साइंस और ह्यूमैनिटीज के छात्रों को बेहतर प्रदर्शन का मौका देंगे।
लैपटॉप की बनावट और क्वालिटी की जांच
लैपटॉप बनाने के लिए एसर (Acer), डेल (Dell) और एचपी (HP) को चुना गया है। ELCOT ने सभी तकनीकी जांच पूरी कर ली है। अब मैन्युफैक्चरिंग प्रोसेस भी जल्दी शुरू होगा।हर बैच की क्वालिटी टेस्टिंग एक पैनल करेगा।
इसमें अन्ना यूनिवर्सिटी, IIT मद्रास और राष्ट्रीय सूचना विज्ञान केंद्र (NIC) के विशेषज्ञ शामिल होंगे। इसका मतलब है कि हर लैपटॉप न केवल बेहतरीन स्पेसिफिकेशन से लेस होगा बल्कि ड्यूरेबल भी होगा।
छात्रों की पहचान और मॉनिटरिंग सिस्टम
सरकारी और सहायता प्राप्त कॉलेजों के प्रिंसिपल्स को योग्य छात्रों की लिस्ट बनाने का निर्देश दिया गया है। इसका डेटा 2025 तक जमा करना होगा। इसकी ट्रांसपेरेंसी के लिए ERP बेस्ड ट्रैकिंग सिस्टम लागू कर रहा है। इस सिस्टम से सप्लाई चैन, वेंडर परफॉरमेंस और स्टॉक की निगरानी आसानी से की जा सकेगी।
डिजिटल एम्पावरमेंट की दिशा में अगला कदम
तमिलनाडु की फ्री लैपटॉप योजना 2011 में शुरू हुई थी। अब तक 52 लाख से ज्यादा लैपटॉप वितरित किए जा चुके हैं। इस पर खर्च लगभग 7,000 करोड़ रुपये हो चुका है। इस नए फेज में एडवांस्ड फीचर्स और डिजिटल मॉनिटरिंग शामिल हैं।
ऐसे में अब सरकार का लक्ष्य छात्रों को तकनीक के माध्यम से सशक्त बनाना और उन्हें डिजिटल-फर्स्ट इकॉनमी के लिए तैयार करना है। फिलहाल फाइनल क्वालिटी चेक पूरी होने के बाद, सरकार डिस्ट्रीब्यूशन की ऑफिशियल डेट घोषित करेगी।
Summary:
तमिलनाडु सरकार ने डिजिटल शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए फ्री लैपटॉप योजना आगे बढ़ाई है। पहले फेज में 10 लाख और दो साल में कुल 20 लाख छात्रों को लैपटॉप दिए जाएंगे। ₹2,000 करोड़ के बजट में एसर, डेल और एचपी लैपटॉप बनाएंगे। हर लैपटॉप की गुणवत्ता अन्ना यूनिवर्सिटी, IIT मद्रास और NIC जांचेंगे। यह स्कीम छात्रों को तकनीक रूप से सशक्त बनाएगी। साथ ही उन्हें डिजिटल अर्थव्यवस्था के लिए तैयार करेगी।
